तेरी मेरी कहानी
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कहानी बनें कुछ ऐसी तेरी मेरी,
जीवन में सबकें खुशियॉ हो बिखेरी।
तेरी मेरी कहानी वर्षो हो पुरानी,
लोंगों की जुबानी में जिंदा रहें ।
कर्म ऐसा करें जो मिटे न कभी,
करें न ऐसा कर्म की शर्मिंदा रहें।
काली बदली गमों की घिरे जब भी,
सबकें मन मे खुशियों के ,
रंगीन फूल बिखराते हम रहें।
जीवन का मतलब दुनियाँ में
सबकों समझातें सिखाते रहें।
तेरी मेरी कहानी कुछ ऐसी बनाये,
लोंगों की जुबानी में जिंदा रहें।
ऐसा सुरीला सरगम लहरायेंगे हम,
गमों से दुखी ना परिंदा भी रहें।
भुखों कों भरपेट ख़िलाएँगे हम,
नही कोई भूखें मरें सब जिंदा रहें।
परोपकार को मानवधर्म बना कर,
जीवन को सफल बनातें हम रहें।
तेरी मेरी कहानी कुछ ऐसी बने,
जीवन को अमर बना के रहे।
कहानी तेरी मेरी ऐसी अद्भुत बने,
युग-युग सबकी जुबानों में जिंदा रहे।
💐समाप्त💐 स्वरचित और मौलिक
सर्वाधिकार सुरक्षित
लेखिका:-शशिलता पाण्डेय
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