शीर्षक - वीर भगत सिंह
बहुत सुनी है एक कहानी।
बोतल में भर लाया मिट्टी बलिदानी।
ओ मेरे भगत सिंह सरदारा ।
तुमको चाहे ये हिंदुस्तां सारा।।
वो मांँ भी धन्य हो गई , तुमको कोख में जिसने पाला।
हम युवाओं का नायक, भारत माता का रखवाला।।
कितना वीर था वो अभिमानी।
हमने बहुत सुनी है कहानी।।
वो मिट्टी भी अभिमानी, जिसमे बंदूकों को बोया।
वो धरा भी है बलिदानी, जिसमे ये बीज क्रान्ति का बोया।।
वो फंदे कितने पावन , जिनमे तुम फांँसी पर झूले।
वो कौम बड़ी ही कायर , जो उस वीर के बलिदानों को भूले।।
वो मांँ का लाल बहुत बलिदानी।
हमने बहुत सुनी है कहानी।।
हम न थे उस युग में शायद, जब वीर भगत सिंह आया।
हम सबने तो उसका जिक्र बस, इतिहासों में पाया।।
नौ जवानों में जिसने जगाई थी, देश प्रेम की ज्वाला।
अपने प्राणों को भारत माता के चरणों में अर्पित कर डाला।।
दे गया देश को अपनी अमर जवानी।
हमने सुनी है वीर भगत सिंह की कहानी।।
भगत सिंह से वीर ही, हैं भारत की शान।
भारत माता के लिए, दे दी अपनी जान।।
- गौरव मिश्र तन्हा
0 टिप्पणियाँ