कवि भूताराम जाखल द्वारा 'बिरसा मुंडा' विषय पर रचना

*राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय "बदलाव मंच"*
*साप्ताहिक प्रतियोगिता*
*दिनांक :- 11 नवम्बर से 18 नवम्बर  2020 तक*

*विषय :- बिरसा मुंडा*
            *कविता*
*शीर्षक :- बिरसा मुंडा*


जिसने जल जंगल जमीन की, की जंग,
तीर-कमान के समक्ष रह गई बन्दूकें दंग,
सभ्यता संस्कृति सहेजने को संघर्ष कर,
बिरसा मुंडा जी ने किया अन्दोलन का संग।।

अंग्रेजों का किया आदिवासियों संग विरोध,
अपने हकों के लिये किया कड़ा प्रतिशोध,
अंग्रेजों को छापामार युद्ध में दी शिकश्त,
हक के लिये  जंग का किया अनुरोध।।

हक के लिये शहीद हुए महान क्रांतिकारी ,
छक्के छुड़ा दिये जो थे फ़िरंगी अत्याचारी,
प्रेरणादायी रहेगा आपका व्यक्तित्व सदा,
रहेगा हमेशा भारत बलिदान का आभारी।।

लिखे लेखनी भूताराम बिरसा महान की,
शुक्रगुजार हैं जनता आपके बलिदान की,
इतिहास में हुए अमर आप कर *उलगुनान*,
सीख दे गये हमें आप हमारे आत्मज्ञान की।।

स्वरचित व मौलिक रचना
रचनाकार:- मास्टर भूताराम जाखल
गाँव-जाखल,तहसील-सांचोर,जिला-जालोर(राजस्थान)

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