*मांँ शारदे को नमन, बदलाव मंच को नमन।*
*सादर समीक्षार्थ*
*शीर्षक: जीवन राह*
*विद्या: हाइकु*
कहीं फूल है
कहीं कंटीले रास्ते
जीवन राहें।
यहां मिलते
दोराहे हमेशा ही
सही गलत।
चुनाव तेरा
किस राह चलना
क्या है मंजिल।
सत्य राह में
संघर्ष है कठीन
निश्चित लक्ष्य।
गलत राह
चमकदार है बड़ा
खुद को खोना।
चुन वो राह
दुनिया रखें याद
सिद्धांतों वाला।
*स्मिता पाल (साईं स्मिता), झारखंड*
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